नीलम, मैं यहां हूं… बेटी को कोमा में देख फूट- फूटकर रोए अमेरिका पहुंचे पिता।

नीलम कराड तालुका के उम्ब्राज गांव की रहने वाली है। कैलिफोर्निया के सैक्रामेंटो में 16 फरवरी को हुई कार दुर्घटना में नीलम शिंदे गंभीर रूप से घायल हो गई थी। दुर्घटना के बाद बेटी के कोमा में जाने की सूचना के बाद इमरजेंसी वीजा पर ताना जी शिंदे अमेरिका पहुंच गए। तानाजी सोमवार को स्थानीय समय अनुसार रात 1:30 बजे कैलिफोर्निया के सैक्रामेंटो शहर पहुंचे। सोमवार आधी रात को कैलिफोर्निया पहुंचते ही तानाजी शिंदे सैक्रामेंटो हॉस्पिटल पहुंच गए।

मुकेश कुमार (क्राइम एडिटर इन चीफ ) TV 9 भारत समाचार सातारा (महाराष्ट्र )।

महाराष्ट्र के सातारा ज़िले की रहने वाली नीलम शिंदे उच्च शिक्षा के लिए अमेरिका गई थी। लेकिन एक भीषण दुर्घटना के बाद वह कोमा में चली गई। नीलम के पिता तानाजी शिंदे अपनी बेटी से मिलने अमेरिका गए और आधी रात को अस्पताल पहुंचे। तानाजी अपनी बेटी को गंभीर में देख कर उनके आंसू झलक गए।

नीलम कराड तालुका के उम्ब्राज गांव की रहने वाली है। कैलिफोर्निया के सेक्रोमेंटो में 16 फरवरी को हुई कार दुर्घटना में नीलम शिंदे गंभीर रूप से घायल हो गई थी। दुर्घटना के बाद बेटी के कोमा में जाने की सूचना मिलने के बाद इमरजेंसी वीजा पर तानाजी शिंदे अमेरिका पहुंच गए।

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तानाजी सोमवार 3 मार्च को स्थानीय समयानुसार रात 1:30 बजे कैलिफोर्निया के सेक्रामेंटो शहर पहुंचे। सोमवार आधी रात को कैलिफोर्निया पहुंचते ही तानाजी शिंदे सैक्रामेंटो स्थित अस्पताल पहुंच गए।

अस्पताल के मेडिकल स्टाफ ने उन्हें सुबह आने को कहा। हालांकि, उन्होंने अपनी बेटी से तुरंत मिलने की जिद की। पिता के आग्रह के बाद स्टाफ के लोगों ने गहन चिकित्सा इकाई में ले गए और और उनकी बेटी से मिलवाया। बेटी को देखने के बाद पिता बोले – नीलम मैं यहां हूं…… यह शब्द सुनने के बाद नीलम की पलकें हिलने लगी। इसके बाद पिता फूट-फूटकर रोने लगे। इस दौरान स्टाफ के लोग भी भावुक हो गए।

नीलम के पिता तानाजी शिंदे और चाचा गौरव कदम इमरजेंसी वीजा पर अमेरिका गए हैं। नियम के अनुसार नीलम के पिता और चाचा 6 महीने तक अमेरिका में रह सकेंगे। अस्पताल प्रशासन ने पहले 10 दिन तक उनके रहने की व्यवस्था की है। उसके बाद अमेरिका में रहने वाले महाराष्ट्र के लोगों के संगठन उनके रहने की व्यवस्था करेंगे। कुछ उद्योगपति भी सहयोग के लिए आगे आए हैं।

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